चीनी रॉकेट का मलबा हिंद महासागर में गिरता है, जो वायुमंडल में प्रवेश करते ही नष्ट हो जाता है


- चीनी मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, यह भारत के दक्षिण-पूर्व, श्रीलंका और मालदीव के आसपास गिर गया।

नई दिल्ली तारीख रविवार, 9 मई, 2021

पिछले हफ्ते लॉन्च हुए चीन के सबसे बड़े रॉकेट का मलबा हिंद महासागर में डूब गया है। मलबे पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करने के बाद हिंद महासागर में डूब गया। हालांकि, वातावरण में प्रवेश करते ही मलबे का एक बड़ा हिस्सा नष्ट हो गया।

चीनी विदेश मंत्रालय ने पहले ही सूचित कर दिया था कि रॉकेट के अवशेष पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करते ही पुन: भस्म हो जाएंगे, जिससे क्षति का जोखिम कम हो जाएगा।

पेंटागन को कुछ दिन पहले अमेरिकी रक्षा विभाग ने चेतावनी दी थी कि एक लंबा मार्च 5 बी रॉकेट जमीन से टकराएगा और अंत में हिंद महासागर से टकराएगा। चीनी मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, यह भारत के दक्षिण-पूर्व, श्रीलंका और मालदीव के आसपास स्थित है।

अमेरिकी स्पेस फोर्स की रिपोर्ट के अनुसार, यह 18,000 मील प्रति घंटे की गति से पृथ्वी के करीब पहुंच रहा था। इस वजह से, यह स्पष्ट नहीं था कि वह कहां उतरेगा।

नियंत्रण से बाहर जाने के बाद, रॉकेट जमीन की ओर बढ़ने लगा और अगर वह जमीन से टकरा गया, तो नुकसान की आशंका थी। हालांकि, विशेषज्ञों के अनुसार, चीनी रॉकेट ज्यादातर जमीन पर पहुंचते ही जलकर राख हो जाता था। चीन ने अपने अंतरिक्ष स्टेशन के पहले हिस्से को इस रॉकेट की मदद से अंतरिक्ष में बनाने के लिए भेजा था। इस मॉड्यूल का नाम तियानहे था।

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